वॉशिंगटन। बालाकोट में 26 फरवरी को इंडियन एयरफोर्स (आईएएफ) की ओर से हुई एयर स्ट्राइक सफल थी और यह दावा किया गया है एक अमेरिकी एक्टिविस्ट की ओर से जो कि गिलगित में रहते हैं। अमेरिकी एक्टिविस्ट सेंग हसनान सेरिंग की ओर से 13 मार्च को किए ट्वीट में बालाकोट एयर स्ट्राइक पर एक अहम बात कही गई है। उन्होंने उर्दू मीडिया में आ रही कुछ रिपोर्ट्स के हवाले से दावा किया है कि बालाकोट से कुछ शवो को खैबर पख्तूनख्वा भेजा गया है। इसके अलावा कुछ शवों को पाक के जंगली इलाकों में भी भेजा गया।
#Pakistan military officer admits to "martyrdom" of more than 200 militants during Indian strike on #Balakot. Calls the terrorists Mujahid who receive special favors/ sustenance from Allah as they fight to support PAK government [against enemies]. Vows to support families pic.twitter.com/yzcCgCEbmu
हसनान ने अपनी ट्वीट में एक वीडियो पोस्ट किया है। हसनान ने अपनी ट्वीट में लिखा है, ‘पाकिस्तान मिलिट्री ऑफिसर इस बात को कुबूल कर रहे हैं कि भारत के हवाई हमले में 200 से ज्यादा आतंकियों को ‘शहादत’ मिली है।’ इस वीडियो में मिलिट्री ऑफिसर आतंकियों को एक ऐसे मुजाहिद के तौर पर बता रहा हे जिसे पाक सरकार की तरफ से दुश्मन के खिलाफ लड़ने पर अल्लाह की तरफ से जन्नत हासिल हुई है। इस बारे में हसनान ने न्यूज एजेंसी एएनआई से भी बात की है।
दुनिया से कुछ छिपा रहा है पाक
हसनान ने एएनआई के साथ बातचीत में कहा, ‘वीडियो कितना सही है, इस बारे में मैं कुछ भी नहीं कह सकता हूं लेकिन पाकिस्तान निश्चित तौर पर बालाकोट में जो भी हुआ उसके बारे में कुछ ऐसा छिपा रहा है जो बहुत ही खास है।’ उन्होंने आगे कहा कि पाक इस बात का दावा कर रहा है कि एयर स्ट्राइक में जंगल और खेती लायक जमीन को ही कुछ नुकसान हुआ है। लेकिन इसके बाद भी इंटरनेशनल और लोकल मीडिया को हमले वाली जगह जाने से रोका जा रहा है। उन्होंने सवालिया लहजे में कहा कि अगर कुछ नहीं हुआ है तो फिर पाक को इस इलाके की घेराबंदी करने की कोई जरूरत नहीं है। उन्होंने कहा कि बहुत समय हो गया है और अभी तक इंटरनेशनल मीडिया को इस जगह की स्थिति के बारे में कुछ भी तय करने का मौका नहीं दिया जा रहा है।
IAF की एयर स्ट्राइक सफल
हसनान ने आगे कहा, ‘जिस समय पाकिस्तान इलाके की सुरक्षा में लगा है उसी समय जैश-ए-मोहम्मद यह दावा कर रहा है कि हमले वाली जगह पर एक मदरसा था और उर्दू मीडिया में भी लाशों को बालाकोट से खैबर भेजने की बातें आ रही हैं। फिर इस बारे में कोई भी आसानी से अंदाजा लगा सकता है कि बालाकोट में इंडियन एयरफोर्स ने जो एयर स्ट्राइक की थी, वह सफल रही थी।’ हसनान की मानें तो पाकिस्तान अभी तक कुछ भी साबित करने में सफल नहीं रहा है और न ही इंटरनेशनल और नेशनल मीडिया को हमले वाली जगह पर जाने दिया जा रहा है।
भारत ने क्यों की थी एयर स्ट्राइक
14 फरवरी को पुलवामा में हुए आतंकी हमले के बाद भारत ने 26 फरवरी को बालाकोट में हवाई हमले किए थे। इंडियन एयरफोर्स (आईएएफ) की ओर से मिराज-2000 फाइटर जेट्स की मदद से इन हमलों में जैश-ए-मोहम्मद के अड्डों को ठिकाना बनाया गया था। भारत की ओर से दावा किया जा रहा है कि हमले में 350 आतंकी मारे गए हैं। वहीं पिछले दिनों न्यूज एजेंसी रॉयटर्स की ओर से आई रिपोर्ट में कहा गया था कि पाक सरकार हमले वाली जगह पर मीडिया को जाने से रोक रही है।